जीवन में आदर्श है लाता,
और जीवन को सजग बनाता,
प्रेम,विनय हैं जिगरी भाई,
और निष्ठा से हुई सगाई,
बड़ों की सेवा पहला काम,
अतिथी का करता सम्मान,
सच्चाई सच्ची है मीत,
जिससे मन वो लेता जीत,
बन्धुत्वा का करे प्रचार,
सद्भावना का होता प्रसार,
प्रेम भाव वह जाग्रत करता,
दिलों से हटाता वैमनस्यता,
सदाचार का करे आचार,
कहते उसको शिष्टाचार।
-अनुराधा यादव
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